डिब्रूगढ़ के टॉप पर्यटन स्थलों की जानकारी
by admin · Published · Updated
![](https://mainbharathun.co.in/wp-content/uploads/2023/07/Dibrugarh-1024x631.jpg)
भारत की टी सिटी डिब्रूगढ़
‘डिब्रूगढ़’ भारत की टी सिटी के नाम से भी जाना जाता है, क्योंकि यह शहर पूरी तरह से हरे भरे और विशाल चाय बागानों से भरा हुआ है। ‘डिब्रूगढ़’ शहर ब्रह्मपुत्र की एक सहायक नदी ‘डिब्रूगढ़’ नदी के तट पर स्थित है, जिसे देश का सबसे बड़ा चाय उत्पादक माना जाता है। यह शहरी कई तरह के प्राकृतिक आकर्षणों से भरा हुआ जिसमें नदियाँ, चाय के बागान और हरियाली वाले क्षेत्र शामिल है। ‘डिब्रूगढ़’ भारत का एक ऐसा पर्यटन स्थल है जो प्रकृति प्रेमियों के लिए स्वर्ग के समान है, इसके अलावा यह शहर कई तरह की एडवेंचर एक्टिविटी के लिए भी लोकप्रिय होता जा रहा है।
डिब्रूगढ़ के दर्शनीय स्थल देहिंग पटकाई वन्यजीव अभयारण्य
असम में एकमात्र वर्षावन, देहिंग पटकाई ‘डिब्रूगढ़’ में और आंशिक रूप से तिनसुकिया जिले में स्थित है। आपको बता दें कि यह अभ्यारण्य १११.१९ वर्ग किमी के क्षेत्र में फैला हुआ है और असम के गीले उष्णकटिबंधीय सदाबहार वन श्रेणी के अंतर्गत आता है। देहिंग पटकाई वन्यजीव अभयारण्य के तीन भाग हैं जो डीरोक वर्षावन, ऊपरी दीहिंग नदी और जेयपोर हैं। देहिंग पटकाई को वर्ष २००४ में इसे अभयारण्य का दर्जा मिला, इसके अलावा यह देहिंग-पटकाई हाथी अभ्यारण्य का एक हिस्सा है।
यहां ‘मैं भारत हूँ’ पत्रिका के पर्यटक सिर्फ जंगली जानवरों को ही नहीं बल्कि और भी बहुत कुछ देख सकते हैं। आपको बता दें कि द्वितीय विश्व युद्ध का कब्रिस्तान, डिगबोई तेल रिफाइनरी (देश में सबसे पुराना) यहां निकट ही स्थित है। देहिंग पटकाई रेनफॉरेस्ट का एक हिस्सा अभयारण्य है और इस जंगल का एक हिस्से में डिब्रू-डेओमाली नामक एक और हाथी रिजर्व स्थित है, यह वह जंगल जिसे पूर्व के अमेज़ॅन के रूप में भी जाना जाता है, अगर ‘मैं भारत हूँ’ के प्रबुद्ध पाठक ‘डिब्रूगढ़’ के पर्यटन स्थलों की यात्रा करने के लिए जा रहे हैं तो देहिंग पटकाई वन्यजीव अभयारण्य को अपनी सूची में अवश्य हामिल करें।
डिब्रूगढ़ के आकर्षण स्थल नामफाके मोनेस्ट्री ग्राम
‘डिब्रूगढ़’ असम में प्रमुख शहरों में से एक के रूप में माना जाता है जो कई तरह के आकर्षणों से भरा हुआ है। ‘डिब्रूगढ़’ के कई पर्यटकों के आकर्षण में ‘नामफाके’ गांव का नाम भी शामिल है जो लगभग ३७ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यह गाँव कई ताई फाके परिवारों के लिए घर है जो यहाँ रहते हैं। इस गांव में ‘नामफाके’ मोनेस्टी स्थित है जो कि एक सुंदर बौद्ध मठ है। इस मठ को एक ध्यान केंद्र के रूप में माना जाता है और यह यहां के एक बहुत ही लोकप्रिय पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया गया है।
‘नामफाके’ मोनेस्टी के आसपास का शांत और प्राकृतिक सौंदर्य इसे बेहद खास बनाते हैं। यहां रहने वाले लोग बौद्ध धर्म के अनुयायी हैं और उनकी मान्यताएं और परंपराएं इस धर्म को लेकर काफी मजबूत हैं। गाँव में पास में एक अशोक स्तंभ और एक बौद्ध शिवालय है। मुख्य मठ में प्रवेश करने पर पर्यटक यहां सोने से बनी भगवान बुद्ध की मूर्ति देख सकते है, इसके अलावा मठ के अंदर एक पानी की टंकी जिसका पानी बहुत पवित्र माना जाता है।
डिब्रूगढ़ में घूमने लायक नजदीक की जगह नहरकटिया टाउन
नहरकटिया असम के ‘डिब्रूगढ़’ जिले में स्थित एक शहर है। ‘मैं भारत हूँ’ के प्रबुद्ध पाठकों को बता दें कि यह जिले का एक वाणिज्यिक शहर है जिसमें कई गाँव और चाय के बागान हैं। यह जगह एक बहुत ही दुखद इतिहास के साथ जुडी हुई है। यहां पर लिया नाम के एक अहोम कुलीन ने शहर के रेलवे स्टेशन के पास राजकुमार नाहर की हत्या कर दी थी और इस घटना के बाद से ही यह शहर ‘नहरकटिया’ के नाम से जाना जाने लगा। यह शहर आज एक पर्यटन स्थल के रूप में लोकप्रिय हो गया है और यहां
पर बड़ी संख्या में पर्यटक यात्रा करने के लिए आते हैं। अगर आप ‘डिब्रूगढ़’ की यात्रा करने के लिए जा रहे हैं तो आपको नहरकटिया टाउन घूमने के लिए भी जाना चाहिए, क्योंकि आप यहां पर कई आकर्षक स्थानों को एक्सप्लोर कर सकते हैं। यहां के कुछ आकर्षक स्थानों में सासोनी गोजपुरिया, नम्पहाके, मर्बिल इको टूरिज्म और गोभुरो डोलोंग के नाम शामिल हैं।
डिब्रूगढ़ के पर्यटन स्थल रडोंगा डोल
यह डिब्रूगढ़ के सबसे पुराने और महत्वपूर्ण स्मारकों में से एक माना जाता है, जो कालाखोवा क्षेत्र में स्थित है। बता दें कि यह डोल लगभग ४५ फीट ऊँचा है जो अहोम साम्राज्य का अवशेष है, जिसमें १४ मूर्तियाँ शामिल हैं। ऐतिहासिक साक्ष्य की माने तो यह डोल को स्वदेश देव प्रमत्त सिंघा ने अपनी बहन की शादी के लिए रैडनोगिया बरुआ को दहेज के रूप में दिया था। यहां पास में एक आकर्षक तालाब भी स्थित है जो इसकी सुंदरता को और भी अधिक बढ़ा देता है।
डिब्रूगढ़ के बेस्ट टूरिस्ट प्लेस डिब्रू सैखोवा राष्ट्रीय उद्यान
डिब्रू सैखोवा राष्ट्रीय उद्यान शहर से लगभग १२ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है और इसमें वनस्पतियों और जीवों की दुर्लभ प्रजातियां पाई जाती हैं। इस उद्यान में कई सुगंधित और औषधीय पौधे भी पाए जाते हैं। यहां बगीचे में एक तालाब भी है यहां पर पर्यटक बोटिंग का मजा ले सकते हैं। यह उद्यान प्रवासी पक्षियों को देखने के लिए एक बहुत अच्छी जगह है। अगर ‘मैं भारत हूँ’ के प्रबुद्ध पाठक ‘डिब्रूगढ़’ के पर्यटन स्थलों की यात्रा करने के लिए जा रहे हैं तो आपको इस राष्ट्रीय उद्यान का लुत़्फ लेने अवश्य जाना चाहिए।